भारत के इतिहास में संभवत: पहली बार ऐसा हुआ कि किसी प्रसिद्ध संगठन के आह्वान के बिना ही मंगलवार को देशव्यापी बंद होने की सनसनी फैल गयी।
इस भारत बंद का सबसे ज्यादा असर बिहार में देखा गया जहां कई जगह दंगे, आगजनी, सड़क जाम और सेवा बाधित की गयी जबकि देश के दूसरे हिस्सों में इस बंद का ज्यादा असर नहीं दिखा। बिहार और राजस्थान से हिंसक घटनाएं सामने आ रही हैं। दंगाइयों द्वारा ट्रेन रोके जाने और गोलीबारी की सूचना है। बिहार में कई पुलिसकर्मियों के घायल होने की खबर हैं जबकि राजस्थान में बंद के चलते दुकानें कराई गई हैं।
केंद्रीय गृह मंत्रालय ने मंगलवार को आरक्षण के विरोध में सवर्णों द्वारा बुलाए गए कथित तौर पर ‘भारत बंद’ के चलते सभी राज्यों से सतर्क रहने को कहा है। केंद्र ने सीधे तौर पर कहा है कि इस दौरान अपने क्षेत्र में होने वाली हिंसा के लिए ज़िलाधिकारी और पुलिस अधिकारी व्यक्तिगत रूप से ज़िम्मेदार होंगे। सरकार ने सरकारी कर्मचारिओं को कथित तौर पर बुलाए गए बंद में हिस्सा ना लेने की सलाह दी गई है।