13 मोहरम को कर्बला के असीरों की याद में निकल गया जुलूस इससे पूर्व मजलिस को डॉ कमर अब्बास ने खिताब करते हुए बताया कि किस तरह से दस मोहरम को कर्बला में हज़रत इमाम हुसैन व उनके साथियों की शहादत के बाद पूरे परिवार को यजीदीयों ने कैदी बनाकर कर्बला से क़ूफा लाया और अहले हरम पर क्या-क्या ज़ुल्म हुए।
जौनपुर/नगर के बाजार भुआ स्थित इमामबाड़ा शेख हशमत अली में गुरुवार की रात्रि लुटे हुए काफिले का 11वी मोहर्रम का जुलूस निकाला गया जो अपने कदीम रास्ते से होता हुआ पुनः उसी इमामबाड़े में जाकर समाप्त हुआ।
इससे पूर्व मजलिस को डॉ कमर अब्बास ने खेताब करते हुए बताया कि किस तरह से दस मोहरम को कर्बला में हजरत इमाम हुसैन वह उनके साथियों की शहादत के बाद पूरे परिवार को यजीदी फौजियों ने कैदी बनाकर कर्बला से ऊँट पर बैठकर कूफ़े की गलियों से होते हुए मक्का मदीना लाया गया था।
इस दौरान उन पर जुल्म इतने ढाए गए थे कि रास्ते में कई लोगों को शहादत हो गई थी ।आज हम सब लोग उन्ही की याद में यह लूटा हुआ काफिले का जुलूस निकाल रहे हैं।
जुलूस में बेलाल हसनैन व मौलाना बाक़र मेहंदी ने भी तकरीर की जुलूस जब जेडी के आवास के पास पहुंचा तो वहां मौलाना हसन अकबर ने तकरीर किया जिसके बाद जनाबे सकीना की तुरबत से अलम को मिलाया गया। जुलूस में शहर की सभी अंजुमन ए नोहा मातम करती रही।