ईरानी राष्ट्र अपनी उस 'क्रांतिकारी भावना' की हिफ़ाज़त करे, जिसने दुश्मन को घुटने टेकने पर मजबूर कर दिया

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ईरानी राष्ट्र अपनी उस 'क्रांतिकारी भावना' की हिफ़ाज़त करे, जिसने दुश्मन को घुटने टेकने पर मजबूर कर दिया

ईरान की इस्लामी क्रांति के वरिष्ठ नेता अयातुल्लाहिल उज़मा सैय्यद अली ख़ामेनई ने ईरानियों से आह्वान किया है कि अपनी उस 'क्रांतिकारी भावना' की हिफ़ाज़त करें जिसने 38 साल पहले देश से दुश्मनों को बाहर निकाल खड़ा किया था।

शुक्रवार को ईरान की इस्लामी क्रांति के संस्थापक इमाम ख़ुमैनी की 27वीं बरसी के अवसर पर उनके मज़ार में आयोजित शोकसभा को संभोधित करते हुए वरिष्ठ नेता ने कहा, हमारे अनेक छोटे और बड़े दुश्मन हैं, लेकिन उनमें सबसे दुष्ट अमरीका और ब्रिटेन हैं।

इस्लामी क्रांति के वरिष्ठ नेता ने ईरान के प्रति अमरीका की दुश्मनी के इतिहास का उल्लेख करते हुए कहा कि वाशिंगटन ने इस्लामी गणतंत्र के ख़िलाफ़ युद्ध में सद्दाम का समर्थन किया, ईरान के यात्री विमान को मार गिराया, ईरान के तेल प्लेटफ़ार्मों पर हमला किया और ईरान में सीआईए ने तख़्तापलट किया।

दास लाख से भी अधिक विदेशी एवं ईरानी नागरिकों एवं गणमान्य हस्तियों को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि अगर कोई व्यक्ति इस्लाम के लिए काम करता है और अमरीका पर भरोसा करता है तो वह अपने चेहरे पर थप्पड़ ज़रूर खाएगा।

वरिष्ठ नेता का कहना था कि ईरान से दुश्मनी का कारण उसकी क्रांतिकारी भावना है। जो दबाव ईरान पर डाला जा रहा है वह इसी क्रांति की वजह से है, इसलिए कि दुश्मन इससे भयभीत है।

उन्होंने सवाल किया कि क्यों वे क्रांति का विरोध करते हैं, इसलिए कि इससे पहले देश पूर्ण रूप से उनके निंयत्रण में था। इसके अलावा, क्रांति के बाद अब यह अन्य देशों के लिए प्रेरणा का स्रोत बन गया है।

जब भी हमारा आंदलोन क्रांतिकारी रहा हम सफल हुए, लेकिन जब भी हमने इसकी उपेक्ष की हम पीछे धकेल दिए गए। अगर आप अपने मार्ग इस्लाम और क्रांति को छोड़ेंगे तो आपके चेहरे पर ज़ोरदार थप्पड़ पड़ेगा।

इमाम ख़ुमैनी की बरसी पर शोकसभा आयोजित कराने वाली संस्था के एक अधिकारी अली अंसारी का कहना है कि इस वर्ष क़रीब 13 लाख लोग देश विदेश से ईरान की इस्लामी क्रांति के संस्थापक के मज़ार पर एकत्रित हुए हैं।

आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनई ने कहा कि इमाम ख़ुमैनी ईश्वर में आस्था और लोगों पर विश्वास रखते थे, और ख़ुद को ईश्वर का सेवक मानते थे।

 

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