ग़ज़्ज़ा पर इस्राईल के हमलों की शुरुआत के लगभग पांच महीने बाद, यूनिसेफ़ ने घोषणा की है कि क्षेत्र में दस लाख से अधिक बच्चे गंभीर कुपोषण से पीड़ित हैं।
यूनिसेफ़ ने एक बयान में कहा कि ग़ज़्ज़ा के 95 प्रतिशत परिवारों में बुज़ुर्ग हैं जो अपने बच्चों को खिलाने के लिए कम खाते हैं। वहीं, संयुक्त राष्ट्र संघ की इस सहायक कंपनी ने अपने बयान में कहा है कि गाजा में खाद्य पदार्थों की निरंतर डिलीवरी की बहुत जरूरत है।
संयुक्त राष्ट्र संघ के विशेष रिपोर्टर माइकल फ़ख़्री ने भी गार्डियन से बो करते हुए कहा कि इस्राईल जानबूझकर फ़िलिस्तीनियों को भूखा मार रहा है। उनका कहना था कि भोजन तक पहुंच को रोकना एक युद्ध अपराध है और नरसंहार है।
उन्होंने इंटरव्यू में कहा कि ग़ज़्ज़ा में मानवीय सहायता रोकने या छोटी मछली पकड़ने वाली नौकाओं, ग्रीनहाउस गैसों और बगीचों को नष्ट करने का, सिवाय लोगों को भोजन से वंचित करने के कोई कारण नहीं है।
संयुक्त राष्ट्र के इस अधिकारी ने स्पष्ट रूप से कहा है कि जानबूझकर लोगों को भोजन से वंचित करना एक अपराध है और इस्राईल ने साबित कर दिया है कि वह सभी फ़िलिस्तीनियों या उनके एक बड़े हिस्से को सिर्फ़ इसलिए ख़त्म करना चाहता है क्योंकि वे फ़िलिस्तीनी हैं।