इस्लामी क्रान्ति के वरिष्ठ नेता आयतुल्लाहिल उज़मा सय्यद अली ख़ामेनई ने बल दिया कि जो लोग सीरिया को गृह युद्ध की ओर ले जा रहे हैं वे इस देश की जनता के वास्तव में शत्रु हैं।
मंगलवार को तेहरान में इस्लामी जागरुकता और विश्वविद्यालय के शिक्षक शीर्षक के अंतर्गत आयोजित सम्मेलन में भाग लेने वालों ने वरिष्ठ नेता से भेंट की। इस अवसर पर वरिष्ठ नेता ने उद्दंडी व विद्रोही गुटों को सीरिया के संकट के जारी रहने का मुख्य कारण बताया और कहा कि मुसलमानों की सभी मांगें हिंसा से दूर रहते हुए पूरी होनी चाहिए। उन्होंने ग़ज़्ज़ा पर अतिग्रहणकारी ज़ायोनी शासन के पाश्विक हमलों के दौरान फ़िलिस्तीन के प्रतिरोध आंदोलन के क्रियाकलाप की प्रशंसा करते हुए कहा कि किसी को यह विश्वास नहीं हो रहा था कि फ़िलिस्तीनियों और इस्राईल के बीच झड़प के पश्चात इस बार युद्ध विराम की शर्त फ़िलिस्तीनी निर्धारित करेंगे।
आयतुल्लाहिल उज़्मा सय्यद अली ख़ामेनई ने इस बात पर बल दिया कि शत्रु इस्लामी जागरुकता शब्द से भयभीत है और वह इस शब्द के प्रयोग से बचता है क्योंकि वह आम लोगों में प्रचलित इस्लाम से डरता है।
वरिष्ठ नेता ने बल दिया कि यह कल्पना कि अमरीका की अगुवाई में विश्व साम्राज्य इस्लाम से समझौता कर लेगा, एक भूल है। (MAQ/N)