कुछ देश, सीरिया संकट के दोहन का प्रयास कर रहे हैं,

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हिज़्बुल्लाह लेबनान के प्रमुख सैयद हसन नसरुल्लाह ने कहा है कि अमरीका नहीं चाहता कि सीरिया संकट हल हो जाए ताकि और मौतें हों, सीरियाई सरकार की राष्ट्रीय साख ख़राब हो, किंतु इसके अलावा क्षेत्र की भी कुछ सरकारें हैं जो सीरिया में हिंसा जारी रहने का लाभ उठा रही हैं। सैयद हसन नसरुल्लाह ने कहा कि यह सोचना बहुत बड़ी भूल है कि सशस्त्र कार्यवाही के माध्यम से सीरियाई सरकार का तख्ता उलटा जा सकता है। सैयद हसन नसरुल्लाह ने विश्व विद्यालय के एक समारोह में भाषण देते हुए कहा कि सीरिया में जारी लड़ाई सरकार और जनता के बीच की लड़ाई नहीं है, यह लड़ाई एसी है जिसमें सशस्त्र संगठन रक्तपात कर रहे हैं और सरकार रक्षात्मक कार्यवाहियों में व्यस्त है। उन्होंने कहा कि सीरिया में जनता के बीच विभाजन बिल्कुल स्पष्ट हो गया है, एक ओर सरकार तथा जनता है और दूसरी ओर एक पक्ष है जो क्षेत्रीय व अंतर्राष्ट्रीय शक्तियों की मदद से सशस्त्र कार्यवाहियां कर रहा है।

सैयद हसन नसरुल्लाह ने कहा कि संचार माध्यम एसी रिपोर्टें दे रहे हैं कि जैसे दमिश्क़ पर विद्रोहियां का कब्ज़ा बिल्कुल निकट है, जबकि सीरिया संकट को दो वर्ष का समय बीत रहा है और कुछ संचार मध्यम आरंभ से ही कह रहे हैं कि बस दो महीने के भीतर दमिश्क़ पर विद्रोहियों का क़ब्ज़ा हो जाएगा। सैयद हसन नसरुल्लाह ने सीरियाई सरकार के विरुद्ध सशस्त्र कार्यवाहियों में लिप्त संगठनों से कहा कि इस्लामी जगत के भीतर तथा पश्चिमी देशों में कुछ सरकारें एसी हैं जो आपकी घात में बैठी हुई हैं और उन्होंने आपके लिए सीरिया के भीतर मैदान ख़ाली कर दिया है जहां आपस में लड़ें और एक दूसरे की हत्या करें तथा आप इसी जाल में फंस गए हैं।

सैयद हसन नसरुल्लाह ने कहा कि सीरिया में वार्ता से इंकार का अर्थ है हिंसा और रक्तपात का जारी रहना अतः सीरिया में जो भी राजनैतिक वार्ता के मेज़ पर आने से इंकार कर रहा है वह अपराधी और हत्याओं का ज़िम्मेदार है।

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